पूरी दुनिया में इस वक्त अमेरिका पर सबसे ज्यादा कोरोना का प्रकोप छाया हुआ है. अमेरिका में कोरोना वायरस से मरने वाले लोगों की संख्या में लगातार इजाफा हो रहा है. बताया जा रहा है कि अमेरिका में इतनी ज्यादा मौतें हुई हैं कि लाशों को दफनाने के लिए जगह तक नहीं मिल रही है. वहां लोगों को दफनाने के लिए कब्रिस्तान कम पड़ रहे हैं.
बताया जा रहा है कि न्यूयॉर्क सबसे ज्यादा प्रभावित शहरों में से एक बन चुका है. हाल ही में कुछ तस्वीरें और वीडियो सामने आए हैं, जो काफी भयावह और खतरनाक नजर आ रहे हैं. न्यूयॉर्क में नए कब्रिस्तान बनाए जा रहे हैं ताकि कोरोना वायरस से संक्रमित लोगों को दफनाया जा सके. (Photo-Reuters
डेली मेल की रिपोर्ट के मुताबिक, न्यूयॉर्क के हार्ट आइलैंड पर एक सामूहिक कब्र बनाई गई है, जहां लोगों को दफनाया गया है. जानकारी के मुताबिक, यहां उन लोगों को दफनाया जाता था जो लावारिस मिलते हैं या जिनके परिवार उनके फ्यूनरल का खर्च नहीं उठा सकते. लेकिन कोरोना वायरस से मरने वाले लोगों की संख्या बढ़ने से शवों की संख्या में इजाफा हुआ है. डेली न्यूज का कहना है कि पहले हफ्ते में एक दिन लाशें दफनाई जाती थीं लेकिन अब 5 दिनों तक लगातार लाशें दफनाई जाती हैं. (Photo-Reuters)
ड्रोन कैमरे से मिली फुटेज में देखा जा सकता है कि सभी लाशों को एक साथ दफनाया जा रहा है. ये तस्वीरें इतनी विचलित करने वाली हैं कि किसी को भी मायूस कर दें. कोरोना वायरस महामारी से शहर में मरने वालों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है, जिसकी वजह से लोग डर के साये में जी रहे हैं. (Photo-Reuters
गौरतलब है कि द्वीप पर दफनाने के लिए, मृतकों को पार्थिव शरीर को थैलियों में लपेटा जाता है और देवदार के ताबूत में रखा जाता है. प्रत्येक ताबूत पर मृतक का नाम बड़े अक्षरों में लिखा गया है, ताकि जरूरत पड़ने पर किसी भी मृतक के शरीर को दोबारा ढूंढने में मदद मिले. मशीनों से खोदी गई लंबी संकरी खाई में गाड़ियां के जरिए शवों को दफन किया जा रहा है.
तस्वीरों में दिख रहा है कि कब्रें खोदने का काम चल रहा है. वहां सेफ सूट पहने श्रमिक मरने वाले लोगों को ताबूतों में दफना रहे हैं. आमतौर पर, कम वेतन वाले रीकर्स आइलैंड पर जेल के कैदी शवों को दफनाने का काम कर रहे थे लेकिन कोरोना वायरस के मामले बढ़ने के बाद दूसरे श्रमिकों को लगाया गया है. (Photo-Reuters)
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