World Population Day 2023: दुनिया भर के देशों की आबादी (Population) को लेकर अलग अलग समस्याएं हैं. किसी देश के लिए बढ़ती जनसंख्या समस्या (Problem of Population) है तो किसी देश के लिए घटती आबादी सिरदर्द. कोई देश आबादी में बच्चों की अपेक्षा बुजुर्गों की बढ़ती संख्या से परेशान है तो कहीं लगातार घटती जन्मदर सरकार के चिंता का विषय बन गई है. इन सभी विषयों पर लोगों का ध्यान आकर्षित करने और सोच विचार के लिए 11 जुलाई को विश्व जनसंख्या दिवस (World Population Day) सेलिब्रेट किया जाता है. आइए जानते हैं कब से मनाया जाता है वर्ल्ड पॉपुलेशन डे और क्या है इसका महत्व…
हम सब जानते हैं कि फिलहाल दुनिया की आबादी सात बिलियन से अधिक है. आज से कुछ साल पहले जब बढ़ती आबादी पूरी दुनिया के लिए चिंता का विषय थी तब 1987 में पूरी दुनिया में इस बात पर नजर रखी जा थी कि दुनिया की आबादी कब पांच बिलियन होगी और अनुमानत: वह दिन 11 जुलाई थी. अगले साल संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम की गवर्निंग काउंसिल (यूएनडीपी) की ओर इस दिन की स्मृति में फाइव बिलियन डे मनाया. इस समस्या पर पूरी दुनिया का ध्यान आकर्षित करने के लिए 1990 में यूएनओ ने 11 जुलाई को वर्ल्ड पॉपुलेशन डे घोषित कर दिया.
बढ़ती जनसंख्या के कारण पृथ्वी पर बोझ बढ़ता जा रहा है जिसका नकारात्मक प्रभाव पर्यावरण पर पड़ रहा है. वर्ल्ड पॉपूलेशन डे के दिन इससे जुड़ी समस्याओं के प्रति लोगों का अवेयर किया जाता है. इस दिन परिवार नियोजन, नागरिकों के अधिकार, मां और बच्चे की सेहत जैसे विषयों पर कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है.
अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.
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